केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ने उपराष्ट्रपति से मुलाकात की
उपराष्ट्रपति को नागरिक उड्डयन मंत्रालय की प्रमुख पहलों और उपलब्धियों की जानकारी दी गई
केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री श्री किंजरापु राममोहन नायडू ने आज मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ संसद भवन में भारत के उपराष्ट्रपति श्री सी.पी. राधाकृष्णन से मुलाकात की।
Hon’ble Union Minister for Civil Aviation, Shri Kinjarapu Rammohan Naidu, called on Hon’ble Vice-President Shri C. P. Radhakrishnan at Parliament House today, along with senior officials of the Ministry.
— Vice-President of India (@VPIndia) November 25, 2025
During the meeting, the Vice-President was briefed on various measures and… pic.twitter.com/CKyQxCsEoO
बैठक के दौरान, उपराष्ट्रपति को समकालीन आवश्यकताओं और वैश्विक मानकों के अनुरूप भारत के नागरिक विमानन क्षेत्र को मजबूत करने के लिए मंत्रालय द्वारा किए गए प्रमुख उपायों और पहलों के बारे में जानकारी दी गई।
उपराष्ट्रपति को किफायती हवाई यात्रा और प्रमुख बुनियादी ढांचे के विकास के प्रति सरकार की प्रतिबद्धता से अवगत कराया गया, जिसमें नए हवाई अड्डों का उद्घाटन, हवाई संपर्क का विस्तार, यात्री यातायात में रिकॉर्ड वृद्धि, ग्रीनफील्ड हवाई अड्डों की स्थापना और नागरिक उड्डयन में आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के प्रयास शामिल हैं।
उपराष्ट्रपति को आरसीएस-उड़ान योजना के बारे में जानकारी दी गई, जिसका उद्देश्य असेवित और कम सेवा वाले मार्गों पर हवाई संचालन को बढ़ाना, संतुलित क्षेत्रीय विकास को बढ़ावा देना और आम जनता के लिए उड़ान को सुलभ बनाना है। इस ब्रीफिंग में रखरखाव, मरम्मत और ओवरहाल (एमआरओ) पारिस्थितिकी तंत्र को मज़बूत करने और कार्बन उत्सर्जन कम करने के लिए हवाई अड्डों पर स्वच्छ ऊर्जा स्रोतों को अपनाने के लिए मंत्रालय की पहलों पर भी चर्चा की गई।
उपराष्ट्रपति को भारतीय विमानन अधिनियम, 2024 के प्रमुख प्रावधानों के बारे में जानकारी दी गई। यह एक ऐतिहासिक विधायी सुधार है जिसका उद्देश्य सुरक्षा, नवाचार, विकास और वैश्विक अनुपालन को बढ़ाकर भारत के विमानन क्षेत्र का आधुनिकीकरण करना है।
उपराष्ट्रपति ने स्थानीय समुदायों को सशक्त बनाने और क्षेत्रीय आर्थिक एवं पर्यटन संभावनाओं को उजागर करने में उड़ान जैसी पहलों के महत्व पर प्रकाश डाला। उन्होंने अप्रयुक्त हवाई पट्टियों के पुनरुद्धार के लिए मंत्रालय के प्रयासों की सराहना की और विमानन क्षेत्र के तेज़ी से विस्तार के अनुरूप पायलटों की बढ़ती माँग को पूरा करने के लिए प्रशिक्षण विमानों की संख्या बढ़ाने की आवश्यकता पर बल दिया।
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