शिष्टाचार और अनुशासन लोकतंत्र के हृदय और आत्मा हैं; विधि निर्माता अपने आचरण से उच्च मानदंड स्थापित करें : उपराष्ट्रपति

जयपुर
सितम्बर 20, 2022

उपराष्ट्रपति ने विधान मंडलों में बढ़ते व्यवधानों पर चिंता व्यक्त की; उन्होंने राजनीतिक दलों से सहमति की भावना अपनाकर अपने मतभेदों को दूर करने का आग्रह किया
राजस्थान विधानसभा ने उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ का अभिनन्दन किया
राजस्थान के मुख्यमंत्री ने उपराष्ट्रपति के सम्मान में रात्रिभोज का आयोजन किया

उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ ने आज जोर देकर कहा कि शिष्टाचार और अनुशासन लोकतंत्र के हृदय और आत्मा हैं और उन्होंने चुने हुए जन प्रतिनिधियों से आग्रह किया कि वे अपने शब्दों और आचरण से उच्च मानदंड स्थापित करें।
आज जयपुर में उनके सम्मान में आयोजित सम्मान-समारोह में राजस्थान विधानसभा के सदस्यों को संबोधित करते हुए श्री धनखड़ ने कहा कि जन प्रतिनिधियों की प्रतिष्ठा तथा संसदीय संस्थानों की कार्य क्षमता, लोकतंत्र की समृद्धि के लिए महत्वपूर्ण हैं। उन्होंने कहा कि "इन मामलों में विफलता अन्य सार्वजानिक संस्थानों पर भी प्रतिकूल प्रभाव डालेगी।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि इतिहास गवाह है कि हमारी संसद और विधान सभाएं अधिकांशत: शांतिपूर्वक और शालीनता से कार्य करती रही हैं, तथापि वर्तमान स्थिति चिंताजनक है। उन्होंने राजनीतिक दलों से साथ आने तथा सहमति की भावना से अपने मतभेदों को दूर करने का आग्रह किया।
इस बात पर ज़ोर देते हुए कि विधानमंडलों के पवित्र परिसर से ही शासन-प्रणाली को मार्गदर्शन मिलता है, उन्होंने हमारी संविधान सभा की गुणवत्तापूर्ण बहस से प्रेरणा लेने का आह्वान किया।
‘शक्तियों के बंटवारे’ के सिद्धांत का जिक्र करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि "राज्य" के तीनों अंगों में से कोई भी एक अंग स्वयं के सर्वोच्च होने का दावा नहीं कर सकता है क्योंकि सिर्फ संविधान ही सर्वोच्च है।
अपने संबोधन में, श्री धनकड़ ने राजस्थान विधान सभा के अध्यक्ष और सभी सदस्यों को उनके स्नेह एवं आत्मीय भाव के लिए धन्यवाद दिया।
इस अवसर पर राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष डॉ. सी पी जोशी, राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत, विपक्ष के नेता श्री गुलाब चंद कटारिया, राजस्थान सरकार में संसदीय कार्य मंत्री श्री शांति कुमार धारीवाल तथा राजस्थान विधानसभा के सदस्य उपस्थित थे।
इस समारोह से पूर्व, उपराष्ट्रपति राजस्थान राज्य के विभिन्न सामाजिक संगठनों द्वारा उनके सम्मान में आयोजित एक सम्मान-समारोह में सम्मिलित हुए।
शाम को श्री धनखड़ उनके सम्मान में राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत द्वारा अपने आवास पर आयोजित रात्रिभोज में शामिल हुए।

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